पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने कश्मीर के मुद्दे पर अंतरराष्ट्रीय बिरादरी द्वारा तवज्जो न दिए जाने पर नाराजगी व्यक्त की है। संयुक्त राष्ट्र महासभा के 71वें सत्र में हिस्सा लेने न्यूयार्क गए शरीफ ने खुलकर कहा है दुनिया कश्मीर जैसे ज्वलंत मुद्दे पर ध्यान नहीं दे रही है। वह इसको पूरी तरह से नजरअंदाज कर रही है। पाक पीएम का यह दर्द इसलिए भी सामनेे आया है क्योंकि यूएन जनरल असेंबली को संबोधन से पहले उन्होंने कश्मीर के मुद्दे को अंतरराष्ट्रीय मंच पर उठाने और इसको अंतरराष्ट्रीय मुद्दा बनाने का जो प्रयास किया था वह भारत केे राजनीतिक और कूटनीतिक दबाव के बाद विफल होता दिखाई दे रहा है। 26 सितंबर को भारत की विदेश मंत्री संयुक्त राष्ट्र महासभा में पाकिस्तान को करारा जवाब देने वाली हैंं।
अमेरिका, यूएन महासचिव समेत चीन ने भी पाकिस्तान को इस मुद्दे पर ठेंगा दिखा दिया है। वहीं रूस ने उड़ी हमले के बाद पाकिस्तान से न सिर्फ सैन्य अभ्यास रद किया है वहीं भारत की अपील पर एम 35 हेलीकॉप्टर डील भी रद कर दी है। यही वजह है कि पाकिस्तान इस मुद्दे पर अलग-थलग पड़ गया है बल्कि उसको नीचा भी देखना पड़ा हैै। हालांंकि इसके लिए नवाज शरीफ ने काफी होमवर्क भी किया था। इसके तहत उन्होंने कश्मीरी नेताओं से बातचीत की और संबोधन से ठीक पहले पाकिस्तान के सेना प्रमुख से भी फोन पर बातचीत की थी।
गौरतलब है कि नवाज शरीफ ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में दिए गए अपने संबोधन में कहा था कि वह भारत से मजबूत और दाेस्ताना संबंध बनाना चाहते हैं, लेकिन भारत ने इसके लिए जो शर्त रखी हैं वह किसी भी सूरत से स्वाकीर्य नहीं है। उन्होंने यहां तक कहा था कि भारतीय सेना कश्मीर में मानवाधिकार उल्लंघन में लिप्त हैं और कश्मीरियों पर जुल्म कर रही हैं। इस संबोधन में उन्होंने आतंकी बुरहान वानी को भी कश्मीर का यंग लीडर कहकर संबाेधित किया था। इसके लिए भारत ने नवाज को आड़े हाथों लिया था।