प्रदूषण के जहरीले स्तर पर पहुंच जाने की वजह दिल्ली के सारे प्राइमरी स्कूल आज रहेंगे बंद

0

राजधानी में प्रदूषण के जहरीले स्तर पर पहुंच जाने की वजह से दिल्ली सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए बुधवार को सभी प्राइमरी स्कूलों में अवकाश की घोषणा की है। उपमुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि स्थिति की समीक्षा के बाद जरूरत पड़ी तो इसे बढ़ाया जाएगा। प्रदूषण को देखते हुए स्कूलों में सुबह होने वाली प्रार्थना सभा और बाहरी गतिविधियां बंद होगी। भारतीय चिकित्सा एसोसिएशन ने राजधानी में प्रदूषण के जहरीले स्तर तक पहुंच जाने के मद्देनजर सरकार से स्कूलों को बंद करने का सुझाव दिया था। इसके बाद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सिसोदिया से इस पर विचार करने को कहा था।

केजरीवाल ने ट्विटर पर की थी सिसोदिया से अपील
केजरीवाल ने आज ट्वीट कर दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण पर चिंता जताते हुए कहा कि दिल्ली गैस चेंबर बन गई है और हर साल इस मौसम में करीब एक माह तक यही हाल रहता है। उन्होंने कहा कि प्रदूषण के उच्च स्तर को देखते हुए मैंने शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया से स्कूलों को कुछ दिन बंद रखने पर विचार करने का अनुरोध किया था। उन्होंने कहा कि प्रदूषण दिल्ली के लिए गंभीर समस्या बन गया है और सभी को मिलकर इसका समाधान निकालना होगा।

आईएमए के अध्यक्ष डॉ के. के. अग्रवाल कहा है कि मौजूदा समय में दिल्ली में प्रदूषण का स्तर सामान्य से तीन गुना ज्यादा है। इसके कारण सुबह के समय स्कूलों में खुले में गतिविधियों से बच्चों के फेफड़ों पर गंभीर प्रभाव पड़ सकता है। दिल्ली के 14 एयर मॉनिटरिंग स्टेशन पर वायु गुणवत्ता बहुत खराब पाई गई जहां वायु गुणवत्ता का सूचकांक 300 है, जबकि 100 को सामान्य माना जाता है। अग्रवाल ने दिल्ली के उपमुख्यमंत्री एवं शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया को पत्र लिख कर सुबह के समय स्कूलों में खुले में गतिविधियां पूरी तरह से बंद करने की अपील की है। उन्होंने लिखा है कि बच्चे जब शारीरिक परिश्रम करते हैं तो उन्हें ज्यादा ऑक्सीजन की जरूरत होती है। ऐसे में सांस के साथ प्रदूषण की बड़ी मात्रा बच्चों के शरीर में जाती है और इससे फेफड़ों पर असर पड़ता है। उन्होंने कहा कि इस समय हृदय और अस्थमा के मरीजों के अलावा बुजुर्ग और बच्चों को कम से कम घर से बाहर निकलना चाहिए।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here