बैतूल – (ईपत्रकार.कॉम) |विधायक आमला श्री चैतराम मानेकर ने कहा कि समाज से कुरीतियां मिटाने के लिए सबको शिक्षित होना जरूरी है। आजादी के बाद हम धीरे-धीरे सामाजिक कुरीतियां मिटाने में सफल हुए हैं। फिर भी जरूरी है कि हर व्यक्ति शिक्षित हो एवं समाज में व्याप्त कुरीतियों को मिटाने के प्रति जागरूक बनकर समाज के विकास में अपना योगदान दे। उन्होंने कहा कि अस्पृश्यता जैसी बुराई से दूर रहकर ही हम समाज का विकास कर सकते हैं। श्री मानेकर जिले के घोड़ाडोंगरी विकासखण्ड के ग्राम शोभापुर में दो अक्टूबर को गांधीजी की जयंती के अवसर पर आयोजित अस्पृश्यता निवारणार्थ सद्भावना शिविर को संबोधित कर रहे थे। शिविर में कलेक्टर श्री शशांक मिश्र, पुलिस अधीक्षक श्री डीआर तेनीवार सहित स्थानीय जनप्रतिनिधि एवं संबंधित विभागों के अधिकारी मौजूद थे।
अपने संबोधन में श्री मानेकर ने आगे कहा कि गांधी जयंती के अवसर पर हमें गांधीजी के स्वच्छता के संदेश से भी सीख लेना चाहिए एवं स्वच्छ भारत मिशन को सफल बनाने में अपना योगदान देना चाहिए। इस अवसर पर कलेक्टर श्री शशांक मिश्र ने अपने संबोधन में कहा कि देश के संविधान में सभी को समानता का अधिकार है। अब परिदृश्य बदल रहा है। सामाजिक समानता में अब कोई भेदभाव नहीं है, समाज से अस्पृश्यता के कलंक को मिटाने में भी हम सफल हुए हैं। यदि समाज के किसी वर्ग के साथ कोई अपराध या भेदभाव होता है तो दोषियों को सजा देने के लिए कड़े कानून बनाए गए हैं। उन्होंने कहा कि गांधी जयंती के अवसर पर महात्मा गांधी के स्वच्छता के संदेश को भी हमें याद करना चाहिए एवं अपने परिवेश में स्वच्छता के वातावरण का निर्माण करने के लिए सतत् प्रयास करना चाहिए।
पुलिस अधीक्षक श्री डीआर तेनीवार ने कहा कि गांधीजी के आदर्शों का पालन कर हम देश एवं समाज को बेहतर विकास की दिशा दे सकते हैं। गांधी जयंती पर हमारा यह संकल्प होना चाहिए कि हम उनके द्वारा दिए गए आदर्शों के पालन पर खरे उतरें। इसके पूर्व सहायक आयुक्त आदिवासी विकास डॉ. अमरनाथ सिंह ने अनुसूचित जाति वर्ग के कल्याण हेतु संचालित योजनाओं की विस्तार से जानकारी दी। साथ ही उनके लिए कानूनी राहत व्यवस्थाओं के संबंध में भी सहायक आयुक्त द्वारा विस्तार से बताया गया। शिविर में अस्पृश्यता निवारणार्थ आयोजित निबंध एवं भाषण प्रतियोगिता में विजेता विद्यार्थियों को अतिथियों द्वारा पुरस्कृत भी किया गया। इस अवसर पर समाज कल्याण विभाग के कलापथक दल ने गांधीजी के भजनों का गायन किया। शिविर के अंत में एक सहभोज भी आयोजित किया गया, जिसमें समाज के सभी वर्गों ने एकसाथ बैठकर भोजन किया। कार्यक्रम में ग्राम सरपंच श्रीमती सेवंतीबाई भी मौजूद थीं।