केंद्र सरकार ने स्वतंत्रता दिवस से पहले जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा बंदोस्त को और सख्त करने का फैसला किया है. कश्मीर घाटी में 15 अगस्त से पहले सुरक्षाबलों की 100 अतिरिक्त कंपनियां तैनात की जाएंगी. गृह मंत्रालय की ओर से जारी बयान के मुताबिक सीआरपीएफ की 50, बीएसएफ की 10, एसएसबी की 30, आईटीबीपी की 10 कंपनियां तैनात की जाएंगी.
घाटी में आतंकवादी गतिविधियों को देखते हुए नरेंद्र मोदी सरकार कोई जोखिम मोल लेना नहीं चाहती. आतंकवादी 15 अगस्त या उसके आसपास आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने की फिराक में रहते हैं. कश्मीर आतंकवाद का दंश बरसों से झेल रहा है. कई बार आतंकियों ने घाटी के रास्ते देश के विभिन्न हिस्सों में आतंकी हमले को अंजाम देने का प्लान तैयार किया, जिसे सुरक्षा एजेंसियों ने नाकाम कर दिया.
पाकिस्तान की ओर से सीजफायर का लगातार उल्लंघन होने से भी आतंकियों को घाटी में घुसने का मौका मिलता है. बीते कुछ दिनों में पाकिस्तान की ओर से कई बार सीजफायर का उल्लंघन हुआ है. मंगलवार को जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में एलओसी पर पाकिस्तान ने तीन जगहों पर सीजफायर तोड़ा. 23 जुलाई को दोपहर करीब 12:20 बजे पाकिस्तानी सेना ने एलओसी के पास छोटे हथियारों से गोलीबारी कर सीजफायर तोड़ा.
सेना के प्रवक्ता ने कहा, पाकिस्तान की सेना ने दूसरा संघर्ष विराम उल्लंघन कृष्णाघाटी और मेंढर सेक्टरों में किया. पाकिस्तान के सीजफायर उल्लंघन का भारतीय सेना ने भी मुंहतोड़ जवाब दिया. इससे पहले सोमवार को राजौरी जिले के सुंदरबनी सेक्टर में पाकिस्तानी गोलीबारी में भारतीय सेना का एक जवान शहीद हो गया था.