सावरकर को भारत रत्न देना शहीद भगत सिंह का अपमान : कन्हैया

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भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) के नेता एवं जवाहर लाल नेहरू (जेएनयू) विश्वविद्यालय के पूर्व छात्र नेता कन्हैया कुमार ने वीर सावरकर को भारत रत्न देने के मुद्दे पर भारतीय जनता पार्टी पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि यदि सरकार विनायक सवारकर को भारत रत्न से सम्मानित करती है, तो उसे इसी पुरस्कार के लिए शहीद भगत सिंह के नाम की सिफारिश नहीं करनी चाहिए।

कुमार ने आमखास मैदान में औरंगाबाद मध्य विधानसभा सीट से पार्टी उम्मीदवार ए.डी.वी. अभय टकसाल के समर्थन में एक चुनावी सभा को संबोधित करते हुए कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने अपने घोषणा पत्र में कहा कि वह सावरकर को भारत रत्न देने की सिफारिश करेगी, जो देश के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले शहीद भगत सिंह का अपमान है। उन्होंने दावा किया कि सावरकर ने अंग्रेजों से माफी मांगी थी।

भाकपा नेता ने कहा कि कम्युनिस्ट पार्टी ने निजामों के शासन को मराठवाड़ा से समाप्त करने के लिए शुरू किये गये मुक्ति संग्राम में भाग लिया था और पार्टी हमेशा लोगों की भलाई के मुद्दे पर लड़ती रहेगी। औरंगाबाद में जातिवाद की राजनीति समाप्त हो गयी है। उनकी पार्टी यहां 35 विभिन्न मुद्दों पर चुनाव लड़ रही है। उन्होंने कहा कि सत्तारूढ़ भाजपा अनुच्छेद 370 की मुद्दे उठा रही है और किसान, बेरोजगारी, सड़क, जल संकट जैसे कई बुनियादी मुद्दों को दर किनार कर रही है।

कन्हैया ने मतदाताओं से जातिवाद और क्षेत्रवाद के नाम पर मतदान नहीं करने की अपील करते हुए कहा कि मतदाता झूठे वादों में न फंसे और एक जिम्मेदार नागरिक के तौर पर निष्पक्ष उम्मीदवार को अपना वोट दें। इस मौके पर भाकपा नेता राम भारती, असफाक सलामी,मनोहर टकाला सहित कई अन्य नेता भी मौजूद थे।

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