श्रीलंका सरकार ने अपनी नैशनल टीम के खिलाड़ियों को चेतावनी दी है कि वे तीन महीने में फिट हो जाएं, नहीं तो बाहर का रास्ता देखने के लिए तैयार रहें। लंका सरकार का यह अल्टीमेटम तब आया है, जब जिम्बाव्बे सीरीज के खिलाफ टीम के ज्यादातर खिलाड़ी अनफिट पाए गए। श्रीलंका के खेल मंत्री दयाश्री जयासेकरा ने कहा, ‘किसी भी खिलाड़ी की भी फिटनेस संतोषजनक स्तर तक नहीं दिखी।’
वैसे तो टीम का चयन स्वतंत्र पैनल करता है, लेकिन खेल मंत्री की मंजूरी के बाद ही खिलाड़ी अपने देश का प्रतिनिधित्व कर सकते हैं। जयासेकरा ने कहा कि टीम में चुने गए 13 खिलाड़ियों में से किसी भी सदस्य का फिटनेस स्तर इंटरनैशनल स्तर के आसपास भी नहीं है। खिलाड़ियों की कमजोर फिटनेस के कारण उनमें चोटिल होने की शिकायतें भी बढ़ रही हैं।
लंकाई टीम के सिर्फ दो खिलाड़ियों दुष्मांथा चमीरा और लाहिरु मदुशंका को फिटनेस जांच में अच्छे अंक मिले हैं। एक सूत्र ने बताया कि अभी कुछ और खिलाड़ियों का फिटनेस टेस्ट जारी है। विवादास्पद तेज गेंदबाज लासित मलिंगा भी एक टेस्ट में फेल हो गए। मलिंगा का वजन 80 किलो हो चुका है, बढ़ते वजन के कारण उनका फिटनेस स्तर बिगड़ चुका है। वह अब आधिकारिक रूप से निरीक्षण में हैं।
खराब फिटनेस के कारण ही मलिंगा कई बार पहले भी चोटिल हो चुके हैं। इससे पहले चैंपियंस ट्रोफी में निराशाजनक प्रदर्शन के बाद जयासेकरा ने जब यह टिप्पणी की थी कि खिलाड़ियों में अत्याधिक मोटापा होने के चलते टीम चैंपियंस ट्रोफी के सेमीफाइनल में भी नहीं पहुंच पाई। जयासेकरा के इस बयान की मलिंगा ने आलोचनक की थी। हालांकि जयासेकरा के बयान के बाद श्रीलंका के क्रिकेट बोर्ड ने इस पर जांच बिठाई थी।
जयासेकरा ने बताया कि किसी क्रिकेटर में 16 प्रतिशत बॉडी फैट तक सामान्य माना जाता है, लेकिन श्री लंका के खिलाड़ियों में यह स्तर 26 प्रतिशत तक है। उन्होंने खिलाड़ियों को चेतावनी दी है कि जिस भी खिलाड़ी का बॉडी फैल 16 फीसदी से अधिक होगा, उसे नैशनल टीम में खेलने की अनुमति नहीं मिलेगी।