सिंधिया परिवार को ललकार कर कांग्रेस ने गलती की-ज्योतिरादित्य सिंधिया

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भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) का दामन थामने के बाद पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया पहली बार भोपाल पहुंचे. भोपाल पहुंचकर उन्होंने कार्यकर्ताओं को संबोधित किया. ज्योतिरादित्य सिंधिया ने शिवराज सिंह चौहन की भी तारीफ की है. ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि शिवराज कभी न थकने वाले सीएम रहे हैं.

ज्योतिरादित्य सिंह ने कहा, ‘मेरे लिए आज भावुक दिन है. जिस संगठन और जिस परिवार में मैंने 20 साल बिताए, मेरी मेहनत लगन, मेरे संकल्प जिनके लिए खर्च किया, उन सबको छोड़कर मैं अपने आपको आपके हवाले करता हूं.’

ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि कुछ लोगों का मकसद राजनीति होती है, माध्यम जनसेवा होती है. लेकिन यह मैं दावे से कह सकता हूं कि अटल बिहारी वाजपेयी हों, नरेंद्र मोदी हों, राजमाता रही हों, या सिंधिया परिवार का वर्तमान मुखिया होने के नाते मैं, हमारा मकसद हमेशा जनसेवा रही है.’

ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि पक्ष और विपक्ष में कभी मतभेद नहीं होना चाहिए. शिवराज सिंह हमेशा जनता के समर्पित और जनता के प्रति सब कुछ न्योछावर करने वाला कार्यकर्ता शायद बिरला ही रहा हो. कई लोग कहेंगे कि सिंधिया जी आज ही क्यों कह रहे हैं, मैंने खुले में भी यह बात कही है. मैं संकोच करने वाला शख्स नहीं हूं.

ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि शिवराज सिंह चौहान और ज्योतिरादित्य सिंधिया अब एक हैं. इसलिए अब दो नहीं होना चाहिए. मेरा लक्ष्य अब प्रदेश की जनता का साथ पाना है.

सिंधिया परिवार को ललकार बर्दाश्त नहीं
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा, ‘जो सही है, वह सिंधिया परिवार का मुखिया सदैव बोलता है. यह मैं बोल दूं कि सिंधिया की मुखिया को ललकारा था 1967 में, मेरी दादी को, संविद सरकार में क्या हुआ? 1990 में मेरे पूज्य पिता के ऊपर झूठा हवाला कांड किया, उस समय क्या हुआ? और आज जब मैंने अतिथि विद्वानों और किसानों की बात उठाई और मंदसौर में किसानों के ऊपर केस लगी, जो आवाज मैंने उठाई, और मैंने कहा कि जो वचनपत्र में है, उसे पूरा नहीं किया गया तो उसके लिए सड़क पर उतरना होगा. सिंधिया परिवार सत्य के पथ पर चलता है, मूल्य पर चलता है, सिंधिया परिवार को जब ललकारा जाता है तो सिंधिया परिवार जग से भी लड़ सकता है.’

एयरपोर्ट पर उनके स्वागत के लिए हजारों कार्यकर्ता पहले से मौजूद थे. ज्योतिरादित्य सिंधिया का एयरपोर्ट पर जोरदार स्वागत किया गया. उनके साथ केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर भी एयरपोर्ट पहुंचे थे. यहां से निकलकर सिंधिया रोडशो करते हुए भोपाल स्थित बीजेपी दफ्तर पहुंचे. बीजेपी कार्यकर्ताओं ने एक बार फिर से उनका जोरदार स्वागत किया.

इससे पहले सिंधिया कार की छत पर बैठकर रोड शो में हिस्सा लेते नजर आए. वो प्रशंसकों का अभिवादन स्वीकार कर रहे थे.

तय कार्यक्रम के मुताबिक, सिंधिया शुक्रवार 13 मार्च को दोपहर 12 बजे फिर से बीजेपी कार्यालय पहुंचेंगे और महापुरुषों के चित्र पर माल्यार्पण करने के बाद राज्यसभा चुनाव के लिए नामांकन दाखिल करने विधानसभा जाएंगे. सिंधिया के भोपाल पहुंचने से पहले ही उनके समर्थकों को पूरे शहर को होर्डिंग से पाट दिया है.

ज्योतिरादित्य सिंधिया के स्वागत के लिए मध्य प्रदेश बीजेपी कार्यालय में रेड कारपेट बिछाया गया है. साथ ही प्रदेश बीजेपी कार्यालय को सजाया जा रहा है. वहीं कार्यालय में बड़ी संख्या में कुर्सियां लगाई गई हैं. एयरपोर्ट से ज्योतिरादित्य का काफिला प्रदेश बीजेपी कार्यालय पहुंचेगा, जहां उनका स्वागत होगा.

ज्योतिरादित्य सिंधिया के कांग्रेस छोड़कर बीजेपी का दामन थामने के बाद मध्य प्रदेश के कांग्रेस नेताओं ने पार्टी छोड़ना शुरू कर दिया है. राज्य के लगभग हर हिस्से से इस्तीफों की झड़ी लगी हुई है. अब तक सैकड़ों कार्यकर्ता और पदाधिकारी अपने पदों से इस्तीफा दे चुके हैं. कई नेता तो बीजेपी का भी दामन थामने लगे हैं.

सिंधिया के कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में जाने के बाद से पार्टी में अफरा-तफरी मची हुई है. सिंधिया के समर्थक के तौर पर कांग्रेस के भीतर गिने जाने वाले कार्यकर्ता और नेता पार्टी को छोड़ रहे हैं. कांग्रेस में सिंधिया के 22 समर्थकों ने कमलनाथ सरकार से बगावत कर दिया है, जिसके चलते सरकार पर संकट बरकरार है.

कांग्रेस की प्रदेश इकाई के सचिव सुनील तिवारी ने पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखकर कहा है कि कांग्रेस को कुछ नेताओं ने अपनी संस्था बना लिया है. सिंधिया ने जब पार्टी और कार्यकर्ता के हित में आवाज उठाई तो उन्हें दबा दिया गया. इसका परिणाम पार्टी के सामने है.

बीते 32 साल से कांग्रेस से जुड़े तिवारी ने अपने पद से इस्तीफा देने के साथ कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता से भी इस्तीफा दे दिया है. इसी तरह कांग्रेस की सागर जिला इकाई के अध्यक्ष और सरकार में मंत्री गोविंद सिंह राजपूत के भाई हीरा सिंह राजपूत ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया.

कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष कृष्णा घाटगे ने भी अपने पद और कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है. साथ ही बीजेपी दफ्तर में पहुंचकर भाजयुमो के प्रदेशाध्यक्ष डॉ. अभिलाष पांडे की मौजूदगी में पार्टी की सदस्यता ग्रहण की. राज्य के विभिन्न हिस्सों से भी कांग्रेस नेताओं के पदों से इस्तीफा देने और पार्टी छोड़ने की खबरें आ रही हैं.

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